युग-विमर्श (YUG -VIMARSH) یگ ومرش

युग-विमर्श हिन्दी उर्दू की साहित्यिक विचारधारा के विभिन्न आयामों को परस्पर जोड़ने और उन्हें एक सर्जनात्मक दिशा देने का प्रयास है.इसमें युवा पीढ़ी की विशेष भूमिका अपेक्षित है.आप अपनी सशक्त रचनाएं प्रकाशनार्थ भेज सकते हैं.

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रविवार, 14 फ़रवरी 2010

नज़र में हर सम्त बस उसी की है जलवासाज़ी

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नज़र में हर सम्त बस उसी की है जलवासाज़ी। ये दुनिया इन्साँ की ज़िन्दगी की है जलवासाज़ी॥ फ़रेफ़्ता अपने हुस्न पर है वुजूद उसका, निगारिशे-दोजहा...
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