tag:blogger.com,1999:blog-6753607008942686249.post4988929371807237918..comments2023-08-03T08:13:15.576-07:00Comments on युग-विमर्श (YUG -VIMARSH) یگ ومرش: ऐ मौत के फ़रिश्ते ! झिजकता है किस लिए.युग-विमर्शhttp://www.blogger.com/profile/05741869396605006292noreply@blogger.comBlogger1125tag:blogger.com,1999:blog-6753607008942686249.post-4137679746824422062009-02-27T09:04:00.000-08:002009-02-27T09:04:00.000-08:00अच्छी है सर....मतला बहुत सशक्त और ये शेर बहुत भाया...अच्छी है सर....मतला बहुत सशक्त और ये शेर बहुत भाया "तेरे बताये रास्ते पर चल रहा था मैं/मंज़िल जब आ गयी, मुझे रोका है किस लिए"गौतम राजऋषिhttps://www.blogger.com/profile/04744633270220517040noreply@blogger.com